मिर्च की फसल में पत्ती मरोड़ रोग व निदान
मिर्च में पर्ण कुंचन रोग के कारण मिर्च की पत्तियॉ छोटी होकर मुड जाती हैं। पत्तियों की शिराएं मोटी हो जाती है जिससे पत्तियां मोटी दिखाई पड़ती है, पौधौं की बढ़वार रूक जाती है, पौधे झाड़ीनुमा दिखाई पडते हैं। पौधों पर फल लगना कम हो जाते हैं फल लगते भी हैं तो कुरूप हो जाते हैं। यह वायरस सफेद मक्खी द्वारा एक पौधे से दूसरे पौधे में फैलता है। यदि सफेद मक्खी एक बार रोग ग्रसित पौधे से रस चूस लेती है तो वह पूरे जीवन काल रोग फैलाने में सक्षम होती है। अतरू इस बीमारी के प्रबंधन के लिए रस चूसक कीटों की सामूहिक रोकथाम ही सर्वाधिक उचित उपाय है। मिर्च का रकबा अधिक होने से एवं मिर्च के आसपास अन्य फसलें जैसे पपीता, टमाटर, कपास का रकबा भी अधिक होने के कारण वायरस वाहक रसचूसक कीट एक खेत से दूसरे खेत में असानी से बीमारी को फैलाने में सहायक सिद्ध होते हैं। भविष्य में रोग की रोकथाम एवं बचाव की संभावित कार्ययोजना निम्नानुसार होगी- खेत की तैयारी- * गर्मी में गहरी जुताई अवश्य करवाएं। * मेंड़े साफ-सुथरी की जाएं । * खेत के आसपास पुराने मिर्च, टमाटर, पपीते के पौधों को नष्ट किया जाए। * खेतों में अधिक वर्षा की स्थिति में ...